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संध्या
Sunday, June 7, 2009
1 comment:
के सी
June 7, 2009 at 9:25 AM
बहुत सच्ची बात को आपने उस रोशनी में उठाया है जहाँ एक को दुसरे की परवाह ही नहीं है
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बहुत सच्ची बात को आपने उस रोशनी में उठाया है जहाँ एक को दुसरे की परवाह ही नहीं है
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